करना सब कुछ है पर आता कुछ भी नहीं :
दोस्तों आप को तो ये पता ही होगा के सब के ज़िन्दगी में एक वक़्त आता है, जब आपको करना सब कुछ होता है पर आता कुछ भी नही वही हाल है हम दरी बिछाओ गैंग का।
करना सब कुछ है पर आता कुछ भी नहीं को समझाने के लिए दो उदाहरन देता हूँ मैं:
उदाहरण 1: आप मानलो के किसी के साथ पहली डेट पे जा रहे हो, या आप हनीमून पे जा रहे हो , वहां आपको करना सब कुछ होता है लेकिन कई बार ऐसा होता है के कई लोग को आता कुछ भी नहीं है।
उदाहरण 2: आप किसी बड़े रेस्ट्रॉन्ट में जाते हो पर कैसे आर्डर करते है , कैसे टिप देते है, कैसे एक्ट करना है के आप डेन्ट लगो ये नहीं आता फिर भी आप जाते हो रेस्ट्रॉन्ट।
हम दरी बिछाओ गैंग का भी ऐसा ही कुछ है , हमें राजनीती भी करनी है पर आता कुछ भी नहीं है, कारण वस हमें लगता है के हम राजनीती ही कर रहे है लेकिन असल में हम किसी राज नेता या किसी पार्टी की दरी बिछाना या गुलामी करने को ही राजनीती समझ लेते ह।
अन्तः खुद का छोटा मोटा फायदा कराने के चक्कर में क़ौम का समस्या हम नहीं उठा पाते है लेकिन राजनेता के साथ इफ्तार पार्टी तथा सेल्फी लेकर हम भी अपने आप को नेता ही कहते है।
Karna sab kuch hai par aata kuch bhi nahi
